सात समंदर पार अपनों की तलाश में कनाडा से अपने गांव पहुंच ये परिवार, निराशा ही लगी हाथ

सात समंदर पार अपनों की तलाश में कनाडा से अपने गांव पहुंच ये परिवार, निराशा ही लगी हाथ

केएमबी प्रदीप श्रीवास्तव

बस्ती। उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले के हरैया तहसील के छोटे से गांव सरनागी में सात समंदर पार लगभग 12000 किलोमीटर की दूरी तय कर एक विदेशी परिवार कनाडा के टोरंटो शहर से अपने पूर्वजों के बारे में पता करने यहां पहुंचा है।कनाडा से आया ये विदेशी परिवार अपने पूर्वजों की फोटो दिखाता है और बार-बार अपने पूर्वजों की मातृभूमि को जानने की कोशिश करता है,लेकिन लंबा समय बीतने के से कोई भी फोटो में मौजूद उस विदेशी के पूर्वज को पहचान नहीं सका।सरनागी गांव पहुंचे विदेशी दंपति ने अपना नाम विक्रम और अपनी पत्नी का नाम दीपा बताया। विदेशी दंपति ने कहा कि हमारे पूर्वज 1872 में बस्ती के सरनागी गांव से कनाडा के टोरेंटो शहर में जाकर बस गए थे,लेकिन उनके परिवार में हमेशा हिंदुस्तान की मिट्टी की महक बनी रही।विक्रम ने बताया है कि हमारे पूर्वज हमेशा बताया करते थे कि वो मूल रूप से हिंदुस्तान के उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले के सरनागी गांव के रहने वाले हैं। उन्होंने बताया कि हमारे पूर्वज का नाम भिखारू था। विक्रम अपने पूर्वज की फोटो भी लेकर आए थे, लेकिन बात क‌ई वर्षो पहले की होने से सरनागी गांव का कोई भी विक्रम के पूर्वजों को पहचान नहीं पाया। विक्रम और उनकी पत्नी दीपा को हिंदी नहीं आती है। दोनों हिंदी भी नहीं बोल पा रहे थे।गांव के एक व्यक्ति को इंग्लिश की जानकारी थी उससे विक्रम और दीपा ने इंग्लिश में बात की। विक्रम ने बताया कि वो कनाडा के टोरेंटो शहर से फ्लाइट से बेंगलुरु आए। बेंगलुरु से फ्लाइट से वो लोग प्रयागराज पहुंचे। प्रयागराज से टैक्सी लेकर वो गूगल मैप में लोकेशन डालकर बस्ती के सरनागी गांव पहुंचे।पूर्वजों के बारे में पता न चलने पर ये विक्रम और दीपा वापस लौट गए। बता दें कि भले ही विदेशी दंपति को अपने पूर्वजों की इस जमीन की पुख्ता जानकारी नहीं मिल पाई हो,लेकिन गांव के लोगों ने विदेशी दंपति की खूब खातिरदारी की।विदेशी दंपति को अपने बीच पाकर सरनागी गांव के लोगों में खुशी की लहर थी। गांव वालों ने इस विदेशी दंपति साथ जमकर सेल्फी ली।
और नया पुराने

Ads

📺 KMB LIVE TV

Ads by Eonads

نموذج الاتصال