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किशोरी के साथ दुष्कर्म के दोषी को मिली 10 वर्ष के कठोर कारावास व 65 हजार रुपये अर्थदंड

किशोरी के साथ दुष्कर्म के दोषी को मिली 10 वर्ष के कठोर कारावास व 65 हजार रुपये अर्थदंड

केएमबी ऋतिक मिश्रा

सुलतानपुर। किशोरी को बहलाकर भगा ले जाने एवं उसके साथ दुष्कर्म की वारदात को अंजाम देने के मामले में अपर सत्र न्यायाधीश तृतीय व स्पेशल जज पाक्सो एक्ट अभय श्रीवास्तव की अदालत ने मुख्य आरोपी पंकज को दोषी करार देते हुए 10 वर्ष के कठोर कारावास एवं 65 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है।अदालत ने सहआरोपी युवती को दोषी मानते हुए सात वर्ष के कारावास एवं 10 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है।वहीं अदालत ने साक्ष्य के अभाव में एक महिला आरोपी को बरी कर दिया है। मालूम हो धम्मौर थाना क्षेत्र स्थित टंडवा गांव के रहने वाले आरोपी पंकज कोरी पुत्र लालचंद के खिलाफ इसी थाना क्षेत्र की रहने वाली अभियोगिनी ने 21 जनवरी 2019 की घटना बताते हुए अपनी 17 वर्षीय पुत्री को बहलाकर भगा ले जाने के आरोप में मुकदमा दर्ज कराया। मामले में अभियोगिनी ने आरोपी पंकज कोरी के साथ-साथ इसी थाना क्षेत्र के सुमेरपुर के रहने वाली नीलम पुत्री हीरालाल कोरी व उसकी मां शकुंतला के खिलाफ भी सहयोग करने का आरोप लगाते हुए मुकदमा दर्ज कराया। आरोपियों के साथ गई किशोरी के जरिए नगदी व जेवर भी उठा ले जाने की बात एफआईआर में कही गई थी। इस घटना के संबंध में करीब 10 दिन बाद धम्मौर थाने में मुकदमा दर्ज हो पाया था, उसके पहले धम्मौर पुलिस मुकदमा दर्ज करने में टाल-मटोल करती रही। मामले में मुकदमा दर्ज होने के बाद पुलिस सक्रिय हुई तो पीड़िता की बरामदगी हुई। बरामद किशोरी ने अपने बयान में तीनो आरोपियों के जरिए बहलाकर भगाने एवं आरोपी पंकज कोरी पर दुष्कर्म के आरोप की पुष्टि की। मामले में तीनो आरोपियों के खिलाफ आरोप-पत्र दाखिल हुआ और अपर सत्र न्यायाधीश तृतीय व स्पेशल जज पाक्सो एक्ट की अदालत में विचारण चला। इस दौरान बचाव पक्ष ने अपने साक्ष्यो एवं तर्कों को प्रस्तुत कर आरोपियों को बेकसूर बताया और फर्जी केस बनाने का तथ्य पेश किया। वहीं अभियोजन पक्ष से पैरवी कर रहे विशेष लोक अभियोजक अजय कुमार सिंह ने अपने साक्ष्यो एवं तर्को को पेश किया और आरोपियों को ही घटना का जिम्मेदार ठहराते हुए उन्हें दोषी ठहराकर कड़ी सजा से दंडित किए जाने की मांग की। उभय पक्षो को सुनने के पश्चात अपर सत्र न्यायाधीश तृतीय व स्पेशल जज पाक्सो एक्ट अभय श्रीवास्तव की अदालत ने आरोपी महिला शकुंतला को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया है,जबकि अदालत ने अन्य दोनों को दोषी करार दिया। अदालत ने दोषी पंकज कोरी को 10 वर्ष के कठोर कारावास एवं 65 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। वहीं आरोपी युवती नीलम कोरी को अदालत ने सात वर्ष के कठोर कारावास एवं 10 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। अदालत ने अर्थदंड की धनराशि में से 50 हजार रुपये प्रतिकर के रूप में पीड़िता के पक्ष में देने का आदेश पारित किया है।
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