सतत परिश्रम और अनुशासन से विद्यार्थियों को मिलता लक्ष्य: डीआईजी राजेंद्र प्रसाद

सतत परिश्रम और अनुशासन से विद्यार्थियों को मिलता लक्ष्य: डीआईजी राजेंद्र प्रसाद

केएमबी मोहम्मद अफसर

सुल्तानपुर। सतत परिश्रम और अनुशासित जीवन शैली से विद्यार्थियों को उनका लक्ष्य हासिल होता है। इसके लिए आवश्यक है निरंतर अध्ययन करते हुए देश-विदेश के घटनाक्रम से परिचित होते हुए अपने आप को लगातार निखारने का। यह बातें डीआईजी राजेंद्र प्रसाद पांडेय ने कहीं। मिलेनियम ग्रुप आफ स्कूल में अभिभावक सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने विद्यार्थियों की हौसला अफजाई की। शहर के पयागीपुर चौराहे के निकट स्थित मिलेनियम ग्रुप आफ स्कूल में छात्र-छात्राओं का जमावड़ा लगा। डीआईजी के समक्ष कक्षा 1 से 5 तक के छात्र-छात्राओं ने व्यक्तित्व के विकास का बेहतर प्रदर्शन किया। एकेडमिक सीईओ गीतिका बहुगुणा के निर्देशन में विभिन्न प्रदर्शनी लगाकर प्रायोगिक ज्ञान का प्रदर्शन किया। रीजनल हेड हिमांशु महापात्र ने बच्चों को प्रायोगिक ज्ञान देने के लिए आवश्यक दिशा निर्देश दिए गए। रीजनल हेड हिमांशु महापात्रा, डायरेक्टर सुशील कुमार त्रिपाठी ने आधुनिक शिक्षा और तकनीकी शिक्षा पर प्रकाश डाला। प्रधानाचार्य डॉक्टर आनंदन ने कहा कि शिक्षक बच्चों को अनुशासन युक्त जीवन जीना सिखाते हैं। शिक्षिका डॉ प्रियंका जैन और डॉक्टर नविता विजय ने बताया कि किस तरीके से वह बच्चों को व्यावहारिक और प्रायोगिक ज्ञान के प्रति प्रेरित करती हैं और उनमें जिज्ञासा और जानने की हसरत को बढ़ाती हैं। इस अवसर पर बच्चों ने बाजार में खरीदारी करने, वैज्ञानिक अनुसंधान करने, घर पर आने वाले लोगों से इंग्लिश कम्युनिकेशन करने और उन्हें सम्मानजनक ढंग से उत्तर देने खेल के क्षेत्र में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने, अनुशासित और व्यवहारिक जीवन शैली कैसे जीवन यापन करें, इससे संबंधित सामूहिक बाल प्रदर्शन के जरिए अवगत कराया गया।
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